उनके आने से जगमग हो जाता है,
चांदनी बिखरी पूर्णमासी सा लगता है।
हो जाता कुछ ऐसे पावन और स्वच्छ
दिल मेरा, काबा, काशी सा लगता है।
गाता होकर मगन, लगा उनमें लगन
उनके ध्यान में सन्यासी सा लगता है।
उनकी की फुसफुस, मेरे कानों में घुस
एक एक शब्द, मृदुभाषी सा लगता है।
कोई सा भी पल, उनका होना ओझल
इस दिल को बड़ा उदासी सा लगता है।
जाता है खिल, उनके यहाँ होने से दिल
बसेंगे यहीं, स्थाई वासी सा लगता है।
- एस० डी० तिवारी
चांदनी बिखरी पूर्णमासी सा लगता है।
हो जाता कुछ ऐसे पावन और स्वच्छ
दिल मेरा, काबा, काशी सा लगता है।
गाता होकर मगन, लगा उनमें लगन
उनके ध्यान में सन्यासी सा लगता है।
उनकी की फुसफुस, मेरे कानों में घुस
एक एक शब्द, मृदुभाषी सा लगता है।
कोई सा भी पल, उनका होना ओझल
इस दिल को बड़ा उदासी सा लगता है।
जाता है खिल, उनके यहाँ होने से दिल
बसेंगे यहीं, स्थाई वासी सा लगता है।
- एस० डी० तिवारी
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